NCERT Solutions for Class 10 Hindi Kshitij Chapter 16 – Naubatkhane mein ibadat (नौबतखाने में इबादत)
Textbook | Hindi Class 10 Kshitij (क्षितिज भाग 2) |
Chapter | 16 – Naubatkhane mein ibadat |
Author | Yatindra Mishra |
Khand | Gadya Khand (गद्य खंड) |
प्रश्न-अभ्यास
1. शहनाई की दुनिया मे डुमराँव को क्यों याद किया जाता है?
उत्तर- मशहूर शहनाई वादक ‘बिस्मिल्ला खाँ’ का जन्म डुमराँव गाँव मे ही हुआ था तथा शहनाई बजाने मे रीड का प्रयोग होता है जो डुमराँव मे सोन नदी के किनारे पाई जाती है। इन्ही कारणो की वजह से शहनाई की दुनिया मे डुमराँव को याद किया जाता है।
2. बिस्मिल्ला खाँ को शहनाई की मंगलध्वनि का नायक क्यों कहा गया है?
उत्तर- शहनाई ऐसा वाद्य यंत्र है जो मंगल कार्यों मे बजाया जाता है और खाँ शहनाई बजाने मे उस्ताद इसी कारण से उन्हें मंगलध्वनि का नायक कहा जाता है।
3. सुषिर-वाद्यों से क्या अभिप्राय है? शहनाई को ‘सुषिर वाद्यों मे शाह’ की उपाधि क्यों दी गई होगी?
उत्तर- सुषिर-वाद्यों से अभिप्राय है फूँक कर बजाया जाने वाला यंत्र। शहनाई जैसा ऐसा कोई सुषिर-वाद्य नहीं है जिसकी घ्वनि मे इतनी मिठास हो, इसलिए इसे ‘सुषिर-वाद्यों मे शाह’ की उपाधि दी गई है।
4. आशय स्पष्ट कीजिए।
(क) ‘फटा सुर न बख्शे। लुंगिया का क्या है, आज फटी है, तो कल सी जाएगी।’
(ख) ‘मेरे मालिक सुर बख्श दे। सुर मे वह तासीर पैदा कर कि आँखो से सच्चे मोती की तरह गनगढ़ आँसू निकल आएँ।’
उत्तर- (क) यहाँ खाँ ने सुर और कपड़े की तुलना करते हुए बताया है कि उनके लिए सुर अधिक मूल्यवान है। इसी कारण वह ईश्वर से प्रार्थना करते है कि भले ही उनके कपड़े फटे हो मगर उनके सुर कभी मत फटने देना।
(ख)खाँ हमेशा ही ईश्वर से सच्चा सुर पाने की प्रार्थना करते थे। वह ईश्वर से कहते थे कि है ईश्वर, मुझे ऐसा सुर देना जिसमे लोगो के दिलो को छूने की शक्ति हो तथा उस सुर को सुनने वालो की आँखो से सच्चे मोती की तरह आँसू निकल जाए।
5. काशी में हो रहे कौन-से परिवर्तन खाँ को व्यथित करते थे?
उत्तर- काशी की लुप्त होती परंपराएँ, वहाँ के अपने तौर-तरीके तथा संगीत-साहित्य मे भी कमी आ गई है। वहाँ अब हिन्दू मुसलमानो मे भी पहले जैसी एकता नहीं २ह गई। यह सारे काशी मे आते परिवर्तन खाँ को व्यथित करते है।
6. पाठ मे आए किन प्रसंगों के आधार पर आप कह सकते है कि-
(क) खाँ मिली-जुली संस्कृति के प्रतीक थे।
(ख) वे वास्तविक अर्थों मे एक सच्चे इन्सान थे।
उत्तर- (क) खाँ जन्म से एक मुस्लिम थे परंतु वह हिन्दू धर्म को भी मानते थे। वह काशी विश्वनाथ और बालाजी को बहुत मानते थे। वह जब भी कहीं शहनाई बजाते तो काशी विश्वनाथ और बालाजी की दिशा की ओर मुंह करके ही बजाते थे।
(ख)खाँ वास्तविक अर्थों मे एक सच्चे इन्सान थे। वह किसी एक धर्म से ज्यादा मानवता पर विश्वास करते थे। भारत रत्न से सम्मानित होने के बाद भी 3नमे कोई घमंड नहीं आया।
NCERT Solutions for Class 10 Hindi Kshitij Chapter 16 – Naubatkhane mein ibadat – रचना और अभिव्यक्ति
1. खाँ के व्यक्तित्व की कौन-सी विशेषताओं ने आपको प्रभावित किया?
उत्तर-1) ईश्वर के प्रति उनकी अगाध श्रध्दा।
2) मुस्लिम होते हुए भी हिन्दू धर्म का सम्मान किया।
3) धर्म से ज्यादा मानवता को माना।
4) भारत रत्न मिलने के बाद भी कोई घमंड नहीं आया।
5) हर किसी के प्रति दया भाव की भावना।
2. खाँ कला के अनन्य उपासक थे, तर्क सहित उत्तर दीजिए।
उत्तर- खाँ कला के अनन्य उपासक थे। वे हर बार ईश्वर से यही प्रार्थना करते कि ३नका सुर हर किसी के दिल तक पहुँच जाए तथा वह धन व कला मे से भी कला को ऊँचा स्थान देते थे।
NCERT Solutions for Class 10 Hindi Kshitij Chapter 16 – Naubatkhane mein ibadat – भाषा-अध्ययन
3. निम्नलिखित मिश्र वाक्यों के उपवाक्य छाँटकर भेद भी लिखिए।
(क) यह जरूर है कि शहनाई और डमराँव एक-दूसरे के लिए उपयोगी है।
(ख) रीड अंदर से पोली होती है जिसके सहारे शहनाई को फूँका जाता है।
उत्तर- (क)शहनाई और डुमराँव एक दूसरे के लिए उपयोगी है। – संज्ञा आश्रित उपवाक्य।
(ख)जिसके सहारे शहनाई को फूँका जाता है। – विशेषण आश्रित उपवाक्य।
4. निम्नलिखित वाक्यों की मिश्रित वाक्यो मे बदलिए।
(क) इसी बालसुलभ हँसी मे कई यादे बंद है।
(ख) काशी मे संगीत आयोजन की एक प्राचीन एवं अद्भुत परंपरा है।
उत्तर- (क) यह वही बालसुलभ हँसी है जिसमे कई यादे बंद है।
(ख) काशी मे संगीत का आयोजन होता है जो कि एक प्राचीन एवं अद्भुत परंपरा है।